हाल ही में, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने भाजपा पर डॉ. भीमराव अंबेडकर की तस्वीर के साथ छेड़छाड़ करने का गंभीर आरोप लगाया है। इस घटना ने भारतीय राजनीति में एक नया विवाद खड़ा कर दिया है और सोशल मीडिया पर भी तीखी प्रतिक्रियाएं देखी जा रही हैं।
क्या है विवाद का मूल कारण?
विवाद तब शुरू हुआ जब भाजपा ने अपने आधिकारिक सोशल मीडिया हैंडल से एक संपादित तस्वीर साझा की। इस तस्वीर में कांग्रेस के विरोध प्रदर्शन के बीच अमेरिकी निवेशक जॉर्ज सोरोस की छवि जोड़ी गई थी। भाजपा ने इस छवि के साथ एक व्यंग्यात्मक टिप्पणी की, जिसमें लिखा था, “हैलो कांग्रेस और इंडी गठबंधन। हमने आपके लिए तस्वीर को सही कर दिया है। वेलकम।”
कांग्रेस ने इस तस्वीर पर कड़ी आपत्ति जताई और आरोप लगाया कि भाजपा ने डॉ. अंबेडकर की मूल तस्वीर से छेड़छाड़ की है। कांग्रेस के नेताओं ने इसे बाबा साहेब के सम्मान पर आघात बताया और भाजपा से सार्वजनिक रूप से माफी मांगने की मांग की।
प्रियंका गांधी का तीखा बयान
प्रियंका गांधी ने इस घटना की कड़ी आलोचना की और भाजपा पर संवैधानिक मूल्यों का अपमान करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “भाजपा ने पहले सदन में बाबा साहेब का अपमान किया और अब उनके आधिकारिक एक्स (पूर्व में ट्विटर) हैंडल पर बाबा साहेब की तस्वीर से छेड़छाड़ की गई है। यह वही मानसिकता है जो बाबा साहेब की मूर्तियों को क्षति पहुँचाती है। भाजपा को पूरे देश से माफी मांगनी चाहिए।”
प्रियंका गांधी के इस बयान को कांग्रेस के अन्य वरिष्ठ नेताओं ने भी समर्थन दिया। कांग्रेस के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल ने इस घटना को “शर्मनाक” करार दिया और कहा कि भाजपा बार-बार डॉ. अंबेडकर का अपमान करने में कोई कसर नहीं छोड़ती। उन्होंने भाजपा के रवैये की कड़ी निंदा की।
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भाजपा की प्रतिक्रिया
दूसरी ओर, भाजपा ने अपने बचाव में कहा कि छवि को व्यंग्य और राजनीतिक कटाक्ष के तौर पर साझा किया गया था। भाजपा के प्रवक्ताओं का कहना है कि कांग्रेस के विरोध प्रदर्शन की वास्तविकता को उजागर करने के लिए यह तस्वीर संपादित की गई थी। भाजपा के इस रुख को लेकर भी तीखी बहस हो रही है।
भाजपा के इस तर्क को कांग्रेस ने खारिज कर दिया और इसे डॉ. अंबेडकर के प्रति भाजपा की असंवेदनशीलता करार दिया। कांग्रेस ने स्पष्ट किया कि बाबा साहेब अंबेडकर भारतीय संविधान के निर्माता थे और उनके प्रति कोई भी अपमान असहनीय है।
राजनीतिक प्रतिक्रिया और सार्वजनिक आक्रोश
यह विवाद केवल कांग्रेस और भाजपा तक सीमित नहीं रहा। विभिन्न दलों के नेताओं और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने भी इस घटना पर प्रतिक्रिया दी है। दलित संगठनों और डॉ. अंबेडकर के अनुयायियों ने भाजपा के इस कृत्य की कड़ी निंदा की है।
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर भी लोग इस मुद्दे पर अपनी राय व्यक्त कर रहे हैं। ट्विटर और फेसबुक पर #RespectAmbedkar और #BJPApologize जैसे हैशटैग ट्रेंड कर रहे हैं।
कांग्रेस की मांग
कांग्रेस ने इस विवाद पर भाजपा से सार्वजनिक माफी की मांग की है। कांग्रेस का कहना है कि भाजपा को सार्वजनिक मंच पर आकर स्वीकार करना चाहिए कि उसने बाबा साहेब अंबेडकर की तस्वीर से छेड़छाड़ की और इसके लिए माफी मांगनी चाहिए।
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डॉ. भीमराव अंबेडकर भारतीय समाज के लिए एक महान नेता और संविधान निर्माता के रूप में जाने जाते हैं। उनके प्रति अपमानजनक व्यवहार को लेकर भारतीय समाज में तीखी प्रतिक्रियाएं होती हैं। भाजपा और कांग्रेस के बीच इस विवाद ने एक बार फिर इस मुद्दे को राजनीतिक बहस के केंद्र में ला दिया है।
यह देखना दिलचस्प होगा कि भाजपा इस मामले में आगे क्या कदम उठाती है और क्या कांग्रेस की मांग के अनुसार सार्वजनिक माफी मांगती है या नहीं।